Ayushman Bharat Scheme Benefits Bijnor District Leads with 336 Crore in Healthcare 336 करोड़ खर्च कर 1,77,492 लाभार्थियों का हुआ इलाज , Bijnor Hindi News - Hindustan
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336 करोड़ खर्च कर 1,77,492 लाभार्थियों का हुआ इलाज

Bijnor News - बिजनौर जिले में आयुष्मान भारत योजना के तहत 1,77,492 कार्डधारकों का इलाज किया गया है, जिसमें 336 करोड़ रुपए खर्च हुए हैं। सरकार का लक्ष्य अधिक से अधिक लोगों को मुफ्त इलाज मुहैया कराना है। जिले में 70...

Newswrap हिन्दुस्तान, बिजनौरWed, 30 April 2025 03:06 AM
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 336 करोड़ खर्च कर 1,77,492 लाभार्थियों का हुआ इलाज

आयुष्मान योजना के तहत विभिन्न बीमारियों के इलाज का लाभ दिलाने में बिजनौर जिले का प्रदर्शन बेहतरीन चल रहा है। यहां के कार्डधारकों के इलाज पर 336 करोड़ रुपए खर्च हुए हैं। प्रदेश में अधिक से अधिक लोगों को आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना व मुख्यमंत्री जन आरोग्य अभियान के तहत पांच लाख रूपये तक का मुफ्त इलाज मुहैया कराने पर सरकार का पूरा जोर है। बिजनौर जिले का स्थान योजना के लाभार्थियों को इलाज दिलाने में टॉप 20 जिलों में चल रहा है। आयुष्मान भारत योजना की जिला कार्यक्रम समन्वयक डा. नताशा सिंह के मुताबिक जिले के 1,77,492 आयुष्मान कार्ड धारक योजना का लाभ उठा चुके हैं। इन लाभार्थियों का 336 करोड़ रुपए का इलाज कराया जा चुका है, जिनमें से भुगतान की सतत चलने वाली प्रक्रिया के तहत 90 फीसदी का भुगतान भी हो चुका है। जिले में 11 लाख 98 हजार 655 गोल्डन कार्ड बन चुके हैं।

सरकार के 70 पार के सभी सीनियर सिटीजन को आयुष्मान कार्ड योजना में शामिल करने से ये भी अब पात्र बन गए हैं। तेजी से इनके कार्ड बनाने का सिलसिला जारी है। अब तक इस आयु वर्ग के भी करीब 18000 आयुष्मान कार्ड बन चुके हैं। डा. नताशा ने बताया कि जिनके आधार कार्ड लिंक हैं उन्हें तो बायोमीट्रिक की जरूरत नहीं है।

आधार कार्ड लिंक न होने पर बायोमीट्रिक जरूरी है। जिले में आयुष्मान कार्ड धारकों के इलाज के लिए 78 निजी व 30 सरकारी अस्पताल अधिकृत हैं। इसके अलावा जिले से बाहर भी किसी भी अधिकृत निजी अथवा सरकारी अस्पताल में योजना के तहत इलाज करा सकते हैं।

किडनी संबंधी ऑपरेशन अब विशेषज्ञ के ही मान्य

डा. नताशा ने बताया, कि पहले किडनी के ऑपरेशन जनरल सर्जन द्वारा किए जाने पर भी मान्य होता था व संबंधित चिकित्सक को भुगतान हो जाता था, लेकिन पिछले करीब छह माह से किडनी या यूरोलॉजी से संबंधित ऑपरेशन के लिए एमसीएच विशेषज्ञ को ही अधिकृत माना जा रहा है। उन्होंने स्वीकार किया, कि करीब 100 से अधिक ऑपरेशन के मामले में ‘योग्यता के मानक पूरे न होने पर भुगतान रोका जा चुका है।

फॉयर की एनओसी भी अब जरूरी

आयुष्मान भारत योजना के तहत इलाज करने वाले निजी या सरकारी अस्पतालों के पास अब फॉयर की एनओसी होनी अनिवार्य है। योजना के नए पोर्टल पर कोई भी अधिकृत अस्पताल फायर एनओसी होने पर ही अपडेट होकर चढ़ सकेगा। डा. नताशा ने इसकी पुष्टि करते हुए बताया, कि इस सम्बंध में सभी चिकित्सालयों को अवगत कराया जा चुका है।

कमजोर वर्ग के लोगों के लिए वरदान है योजना

आयुष्मान भारत योजना देश में कमजोर वर्ग के लोगों को मुफ्त में सालाना पांच लाख रूपये तक की बीमा कवरेज मुहैया कराती है । यह दुनिया की सबसे बड़ी और पूरी तरह से सरकारी खर्च पर चलने वाली स्वास्थ्य बीमा योजना है । इसमें 1000 से अधिक कैंसर और दिल की बीमारी जैसी कई गंभीर बीमारियों के लिए प्रदेश के हजारों सूचीबद्ध सरकारी और निजी अस्पतालों में मुफ्त इलाज की सुविधा उपलब्ध है । जिस पात्र लाभार्थी के पास आयुष्मान कार्ड है वह छोटी से लेकर बड़ी बीमारियों तक का इलाज अस्पताल में भर्ती होकर करवा सकते हैं ।

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