ओल्ड गुरुग्राम मेट्रो को सिकंदरपुर से जोड़ना क्यों संभव नहीं,कहां फंस रहा पेंच?
परिवहन विभाग के तत्कालीन अतिरिक्त मुख्य सचिव अशोक खेमका एचएमआरटीसी के निदेशक भी थे। अप्रैल माह में एचएमआरटीसी बोर्ड की बैठक में खेमका ने पक्ष रखा था कि ओल्ड गुरुग्राम में प्रस्तावित मेट्रो स्टेशन को सिकंदरपुर मेट्रो स्टेशन से जोड़ने की संभावनाओं को तलाशा जाए।

हरियाणा मास रैपिड ट्रांसपोर्ट कार्पोरेशन (एचएमआरटीसी) ने ओल्ड गुरुग्राम में प्रस्तावित मेट्रो को दिल्ली मेट्रो रेल लिमिटेड (डीएमआरसी) के सिकंदरपुर मेट्रो स्टेशन से सीधे जोड़ने की योजना को सर्वे में संभव नहीं पाया। इसको लेकर मुख्य सचिव की अध्यक्षता में आयोजित एचएमआरटीसी बोर्ड की बैठक में इस योजना को रद्द कर दिया है।
परिवहन विभाग के तत्कालीन अतिरिक्त मुख्य सचिव अशोक खेमका एचएमआरटीसी के निदेशक भी थे। अप्रैल माह में एचएमआरटीसी बोर्ड की बैठक में खेमका ने पक्ष रखा था कि ओल्ड गुरुग्राम में प्रस्तावित मेट्रो स्टेशन को सिकंदरपुर मेट्रो स्टेशन से जोड़ने की संभावनाओं को तलाशा जाए। सिकंदरपुर में डीएमआरसी की येलो मेट्रो और रैपिड मेट्रो के स्टेशन हैं। इसके पीछे उन्होंने कारण बताया था कि सिकंदरपुर मेट्रो स्टेशन के आसपास व्यावसायिक गतिविधियों का एक हब है।
इसके बाद एचएमआरटीसी ने एक एजेंसी के माध्यम से ओल्ड गुरुग्राम में प्रस्तावित मेट्रो को सिकंदरपुर मेट्रो से जोड़ने की योजना को लेकर सर्वे करवाया। एजेंसी ने चार रूट का सर्वे करके रिपोर्ट दाखिल की। इसके मुताबिक पहले रूट के तहत ओल्ड गुरुग्राम मेट्रो को रैपिड मेट्रो के सामांतर चलाकर सिकंदरपुर मेट्रो से जोड़ा जाए, जिसकी लंबाई करीब 2.3 किमी होगी। दूसरे रूट के तहत मिलेनियम सिटी सेंटर मेट्रो स्टेशन को एमजी रोड के माध्यम से यदि सिकंदरपुर से जोड़ा जा सकता है। इसमें 4.40 किमी लंबी लाइन बिछानी होगी।
तीसरे रूट के तहत मिलेनियम सिटी सेंटर को व्यापार केंद्र रोड के माध्यम से सिकंदरपुर से जोड़ा जा सकता है। इसके लिए 4.21 किमी लंबी मेट्रो लाइन बिछानी होगी। यह लाइन रैपिड मेट्रो के साथ-साथ करीब दो किलोमीटर चलेगी। इस तरह चौथे रूट के तहत मिलेनियम सिटी सेंटर मेट्रो स्टेशन से हेमिल्टन कोर्ट होते हुए यदि मेट्रो लाइन बिछाई जाए तो इसकी लंबाई करीब 4.63 किमी होगी। ये डीएमआरसी की येलो लाइन मेट्रो के साथ-साथ करीब एक किमी तो रैपिड मेट्रो के साथ-साथ डेढ़ किमी तक चलेगी।
14 मई को सर्वे रिपोर्ट बैठक में रखा गया
गत 14 मई को हरियाणा के मुख्य सचिव की अध्यक्षता में एचएमआरटीसी की बैठक हुई। इसमें इस सर्वे रिपोर्ट को रखा गया। बातचीत के बाद फैसला हुआ कि सिकंदरपुर मेट्रो स्टेशन से ओल्ड गुरुग्राम मेट्रो को जोड़ना संभव नहीं है। मेट्रो लाइन सामनांतर दूसरी मेट्रो लाइन के साथ-साथ चलेगी। यह आर्थिक रूप से सही नहीं है।
रैपिड मेट्रो से जुड़ा है सिकंदरपुर मेट्रो स्टेशन
मौजूदा समय में डीएमआरसी की येलो लाइन में आ रहे सिकंदरपुर मेट्रो स्टेशन से रैपिड मेट्रो का स्टेशन फुट ओवर ब्रिज (एफओबी) के माध्यम से जुड़ा हुआ है। ओल्ड गुरुग्राम मेट्रो के तहत अंतिम स्टेशन डीएलएफ साइबर सिटी में बनना है। साइबर सिटी से रैपिड मेट्रो के माध्यम से सिकंदरपुर जाया जा सकता है या मिलेनियम सिटी सेंटर मेट्रो स्टेशन से कोई यात्री सिकंदरपुर मेट्रो स्टेशन उतर सकता है।
पहले चरण का टेंडर जल्द आवंटित होगा
ओल्ड गुरुग्राम मेट्रो के तहत पहले चरण का टेंडर इस माह में आवंटित हो जाएगा। गुरुग्राम मेट्रो रेल लिमिटेड (जीएमआरएल) ने मिलेनियम सिटी सेंटर मेट्रो स्टेशन से लेकर सेक्टर-नौ तक करीब 1286 करोड़ रुपये का टेंडर आमंत्रित किया था। इसमें आठ कंपनियों ने हिस्सा लिया है। इन कंपनियों की तरफ से लगाई गई बोली की जांच करके मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में उच्चस्तरीय खरीद कमेटी की बैठक में इस टेंडर को रखा जाएगा। इसके पश्चात टेंडर आवंटित होगा।
दूसरे और तीसरे चरण का सर्वे शुरू होगा
जीएमआरएल ने मेट्रो निर्माण को तीन चरणों में विभाजित किया है। दूसरे चरण के तहत सेक्टर-नौ से लेकर डीएलएफ साइबर सिटी तक भू तकनीकी सर्वे इस महीने में शुरू हो जाएगा। इसके तहत पानी और मिट्टी के नमूनों की जांच होगी। इसके आधार पर मेट्रो पिलर की नींव तैयार होगी। तीसरे चरण में सेक्टर-33 में डिपो तैयार होगा।