Vrishabha Sankranti 2025 Punyakaal will last for 06 hours and 47 minutes muhurat snan daan timing bhadra on 15 May कल वृषभ संक्रांति पर 06 घंटे 47 मिनट तक पुण्यकाल, जानें कब से रहेगा भद्रा का साया, एस्ट्रोलॉजी न्यूज़ - Hindustan
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कल वृषभ संक्रांति पर 06 घंटे 47 मिनट तक पुण्यकाल, जानें कब से रहेगा भद्रा का साया

Vrishabha Sankranti 2025: वृषभ संक्रांति के दिन सूर्य पूजा, स्नान और दान-पुण्य जैसे कर्मों को करना अत्यंत लाभकारी माना जाता है। वृषभ संक्रांति पर पुण्यकाल के समय स्नान-दान व सूर्य पूजन से विशेष लाभ प्राप्त होगा।

Shrishti Chaubey लाइव हिन्दुस्तान, नई दिल्लीWed, 14 May 2025 05:56 PM
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कल वृषभ संक्रांति पर 06 घंटे 47 मिनट तक पुण्यकाल, जानें कब से रहेगा भद्रा का साया

Vrishabha Sankranti 2025: साल में 12 बार सूर्य देव राशियों में गोचर करते हैं। सूर्य देव के एक राशि से दूसरी राशि में प्रवेश करने पर संक्रांति मनाई जाती है। पंचांग अनुसार इस साल गुरुवार, 15 मई को 12:20 ए एम पर सूर्य मेष राशि से वृषभ राशि में प्रवेश करेंगे। उदया तिथि के अनुसार, इसी दिन वृषभ संक्रांति मनाई जाएगी। इस दौरान सूर्य की ऊर्जा प्रबल होती है, जिससे ध्यान, पूजा, स्नान और दान-पुण्य जैसे कर्मों को करने का विशेष महत्व बताया गया है। इस दिन गंगा, यमुना या गोदावरी जैसी पवित्र नदियों में स्नान करना अत्यंत शुभ माना जाता है। वृषभ संक्रांति पर पुण्यकाल के समय स्नान-दान व सूर्य पूजन से विशेष लाभ प्राप्त होगा। आइए जानते हैं शुभ मुहूर्त, पूजन विधि व भद्रा का समय-

कल वृषभ संक्रांति पर 06 घंटे 47 मिनट तक पुण्यकाल

  • वृषभ संक्रान्ति पुण्य काल - सुबह 05:30 से 12:18 पी एम, अवधि - 06 घण्टे 47 मिनट्स
  • वृषभ संक्रान्ति का क्षण - 12:21 ए एम

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पूजा-विधि: यदि पवित्र नदियों में स्नान संभव न हो, तो घर पर स्नान के जल में गंगा जल मिलाकर स्नान करें। इस दिन ब्रह्म मुहूर्त में उठें और नहाने के बाद तांबे के लोटे में लाल रोली, अक्षत, लाल रंग के फूल और काला तिल मिलाकर सूर्य देव को अर्घ्य दें। भगवान सूर्य को अर्घ्य देते समय ॐ सूर्याय नमः, ॐ आदित्याय नमः और ॐ भास्कराय नमः के साथ गायत्री मंत्र का जाप करें। अर्घ्य देने के बाद सूर्य देव को घी का दीपक दिखाएं और 3 बार परिक्रमा करें। गुड़ का भोग लगाएं। इसके बाद सूर्य देव को प्रणाम करें और क्षमा-प्रार्थना मांगे। सूर्य भगवान की पूजा करने के बाद भगवान श्री हरी विष्णु की भी विधिवत पूजा करें।

जानें कब से रहेगा भद्रा का साया: पंचांग अनुसार, कल 15 मई के दिन दोपहर 03:18 से 16 मई को सुबह 04:02 बजे तक भद्रा रहेगी। राहुकल दोपहर 1:59 से 03:41 पी एम तक रहेगा।

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उपाय: सूर्य चालीसा और आदित्य हृदय स्तोत्र का पाठ करें। इससे करियर व धन की स्थिति में सुधार होगा।

डिस्क्लेमर: इस आलेख में दी गई जानकारियों पर हम यह दावा नहीं करते कि ये पूर्णतया सत्य एवं सटीक हैं। विस्तृत और अधिक जानकारी के लिए संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें।

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