Hindi Newsविदेश न्यूज़China on PM Modi Donald Trump Meeting Says Should not Harm Third Party

पीएम मोदी और ट्रंप की बैठक से चीन की सिट्टी-पिट्टी हुई गुम, बोला- किसी तीसरे को न हो नुकसान

  • चीनी विदेश मंत्रालय ने कहा कि चीन का मानना ​​है कि देशों के बीच संबंधों और सहयोग को चीन का मुद्दा नहीं बनाना चाहिए या दूसरे के हितों को नुकसान नहीं पहुंचाना चाहिए ।

Madan Tiwari लाइव हिन्दुस्तान, बीजिंगFri, 14 Feb 2025 09:08 PM
share Share
Follow Us on
पीएम मोदी और ट्रंप की बैठक से चीन की सिट्टी-पिट्टी हुई गुम, बोला- किसी तीसरे को न हो नुकसान

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने अमेरिकी दौरे पर राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से मुलाकात की। इस दौरान दोनों के बीच कई मुद्दों पर बात हुई और ट्रंप ने भारत को फाइटर जेट F-35 भी ऑफर किया। पीएम मोदी और ट्रंप की बैठक से चीन की सिट्टी-पिट्टी गुम हो गई है। उसने कहा है कि दोनों की बैठक से किसी तीसरे को नुकसान नहीं होना चाहिए। मालूम हो कि डोनाल्ड ट्रंप के निशाने पर लंबे समय से चीन रहा है और भारत का भी चीन से रिश्ता बहुत अच्छा नहीं रहा है। पीएम मोदी-ट्रंप की बैठक पर सतर्क प्रतिक्रिया देते हुए बीजिंग ने शुक्रवार को कहा कि उनके द्विपक्षीय सहयोग में चीन को मुद्दा नहीं बनाया जाना चाहिए और इससे किसी तीसरे देश के हितों को नुकसान नहीं पहुंचना चाहिए।

वॉशिंगटन में मोदी-ट्रंप वार्ता पर सतर्क नजर रखते हुए चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गुओ जियाकुन ने कहा कि एशिया-प्रशांत शांतिपूर्ण विकास का केंद्र है न कि भू-राजनीतिक प्रतिद्वंद्विता का क्षेत्र। इस बातचीत में रक्षा सहयोग को मजबूत करने के अलावा इस बात की पुष्टि करने सहित कई मुद्दे शामिल हैं कि अमेरिका और भारत के बीच घनिष्ठ साझेदारी एक स्वतंत्र, खुले, शांतिपूर्ण और समृद्ध हिंद-प्रशांत क्षेत्र के लिए हब है।

गुओ ने एक सवाल के जवाब में कहा कि चीन का मानना ​​है कि देशों के बीच संबंधों और सहयोग को चीन का मुद्दा नहीं बनाना चाहिए या दूसरे के हितों को नुकसान नहीं पहुंचाना चाहिए और यह शांति, स्थिरता और समृद्धि के लिए अनुकूल होना चाहिए। उन्होंने कहा कि विशेष समूह बनाने और गुटीय राजनीति और गुटीय टकराव में शामिल होने से सुरक्षा नहीं आएगी और किसी भी तरह से एशिया-प्रशांत और पूरी दुनिया को शांतिपूर्ण और स्थिर नहीं रखा जा सकता है। गुरुवार (शुक्रवार को भारतीय समयानुसार) मोदी-ट्रंप वार्ता के बाद जारी संयुक्त बयान में कहा गया कि दोनों देश भारत-अमेरिका रक्षा संबंधों को आगे बढ़ाने पर सहमत हुए हैं और 21वीं सदी के लिए एक नई पहल - 'यूएस-इंडिया कॉम्पैक्ट' (सैन्य साझेदारी, त्वरित वाणिज्य और प्रौद्योगिकी के लिए अवसरों को उत्प्रेरित करना) शुरू की है।

ये भी पढ़ें:PM मोदी के अमेरिकी दौरे से पाकिस्तान को लगी मिर्ची, फाइटर जेट के ऑफर से बौखलाया
ये भी पढ़ें:भारत की ताकत बढ़ेगी; ट्रंप से PM मोदी की डील से खुश शशि थरूर, पार्टी का अलग राग

दोनों नेताओं ने इस बात की भी पुष्टि की कि अमेरिका और भारत के बीच घनिष्ठ साझेदारी एक स्वतंत्र, खुले, शांतिपूर्ण और समृद्ध हिंद-प्रशांत क्षेत्र के लिए महत्वपूर्ण है और उन्होंने अन्य मुद्दों के अलावा क्वाड साझेदारी को मजबूत करने की बात कही। भारत क्वाड गठबंधन का सदस्य है, जिसमें अमेरिका, जापान और ऑस्ट्रेलिया शामिल हैं। चीन क्वाड से सावधान है और उसका कहना है कि गठबंधन का उद्देश्य इसके उदय को रोकना है। ट्रंप के पदभार ग्रहण करने के तुरंत बाद, क्वाड के विदेश मंत्रियों ने 22 जनवरी को मुलाकात की और एक स्वतंत्र और खुले हिंद-प्रशांत को मजबूत करने की अपनी प्रतिबद्धता की पुष्टि की, जहां कानून का शासन, लोकतांत्रिक मूल्य, संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता को बरकरार रखा जाता है और उसकी रक्षा की जाती है।

लेटेस्ट   Hindi News ,    बॉलीवुड न्यूज,   बिजनेस न्यूज,   टेक ,   ऑटो,   करियर , और   राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।

अगला लेखऐप पर पढ़ें