Nitish big bet before elections After upper caste, SC ST, extremely backward commission, Naveen Arya appointed chairman चुनाव से पहले नीतीश का बड़ा दांव; सवर्ण, एससी-एसटी के बाद अति पिछड़ा आयोग, नवीन आर्या अध्यक्ष नियुक्त, Bihar Hindi News - Hindustan
Hindi NewsBihar NewsNitish big bet before elections After upper caste, SC ST, extremely backward commission, Naveen Arya appointed chairman

चुनाव से पहले नीतीश का बड़ा दांव; सवर्ण, एससी-एसटी के बाद अति पिछड़ा आयोग, नवीन आर्या अध्यक्ष नियुक्त

प्रो. नवीन कुमार आर्य को अध्यक्ष बनाया गया है। नवीन आर्या पटना विशवविद्यालय में प्रोफेसर रह चुके हैं। वे जदयू में नीतीश कुमार के बेहद खास माने जाते हैं। यही वजह है कि नवीन कुमार को दूसरी बार इस आयोग का अध्यक्ष बनाया है।

Sat, 7 June 2025 05:12 PMSudhir Kumar लाइव हिन्दुस्तान, पटना
share
चुनाव से पहले नीतीश का बड़ा दांव; सवर्ण, एससी-एसटी के बाद अति पिछड़ा आयोग, नवीन आर्या अध्यक्ष नियुक्त

बिहार विधानसभा चुनाव से पहले मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और बीजेपी के नेता सभी वर्गों के मतदाताओं को अपने पाले में करना चाहते हैं। राज्य में एक के बाद एक वर्गों के उत्थान के लिए आयोगों का गठन किया जा रहा है और पार्टी में शामिल जाति विशेष के नेताओं को सेट किया जा रहा है। इसी क्रम में शनिवार को अति पिछड़ा आयोग का गठन किया गया। इससे पहले खाद्य संरक्षण आयोग और बिहार राज्य बाल श्रमिक आयोग की अधिसूचना जारी की गयी।

अति पिछड़ा आयोग में प्रो. नवीन कुमार आर्य को अध्यक्ष बनाया गया है। नवीन आर्या पटना विशवविद्यालय में प्रोफेसर रह चुके हैं। वे जदयू में नीतीश कुमार के बेहद खास माने जाते हैं। यही वजह है कि नवीन कुमार को दूसरी बार इस आयोग का अध्यक्ष बनाया है। वे पार्टी के प्रदेश उपाध्यक्ष हैं। पिछले कार्यकाल के परफॉर्मेंस को देखते हुए उन्हें दोबारा यह पद दिया गया है। इनके साथ मधुबनी के रहने वाले केदारनाथ भंडारी को सदस्य बनाया गया है जबकि, गया के अमित कुमार को सदस्य के पद पर नियुक्ति की गई है। यह नियुक्ति 3 वर्षों के लिए है। आयोग में चार सदस्य हो सकते हैं लेकिन, दो सदस्य ही बनाए गए हैं।

read moreये भी पढ़ें:
बिहार में एक और आयोग, खाद्य कमीशन में कुशवाहा की पार्टी का खाता खुला

दरअसल बिहार में अति पिछड़ा वर्ग की आबादी सबसे ज्यादा 36 प्रतिशत तो पिछड़ा वर्ग की आबादी 27 से अधिक है। इन दोनों को मिलाकर 63 प्रतिशत होता है। इस वजह से सभी सियासी दलों की नजर ईबीसी-ओबीसी वोट बैंक पर है। नीतीश कुमार ने चुनाव के मद्देनजर मास्टरस्ट्रोक खेल दिया है।

read moreये भी पढ़ें:
मोदी ने नाम नहीं लिया, नीतीश ने आयोग नहीं दिया; कुशवाहा की पार्टी में बेचैनी

इसे पहले शनिवार को ही खाद्य संरक्षण आयोग का नोटिफिकेशन जारी किया गया। इसमें जदयू के प्रदेश महासचिव प्रह्लाद कुमार को अध्यक्ष बनाया गया। आयोग के सदस्यों के पद पर भभुआ के रिंकी रानी पाण्डेय, पटना के मोकामा के मनोज कुमार, खगड़िया के गोगरी के अंगद कुमार कुशवाहा और सुपौल के त्रिवेणीगंज के नरेंद्र कुमार ऋषि को सदस्य बनाया गया है। सदस्य बनाए गए मनोज कुमार बीजेपी प्रोटोकॉल के संयोजक हैं। वे मूल मूल रूप से पटना के मोकामा के मोर के रहने वाले हैं। वहीं अंगद कुमार कुशवाहा उपेंद्र कुशवाहा की पार्टी आरएलएम के नेता हैं।

read moreये भी पढ़ें:
चुनावी मोड में नीतीश; महाचंद्र सवर्ण आयोग शैलेन्द्र ST कमीशन के अध्यक्ष बने
सवर्ण, महादलित के बाद मछुआरा आयोग का गठन, नीतीश सरकार का चुनावी खेला!

वहीं राज्य सरकार ने बिहार राज्य बाल श्रमिक आयोग का गठन कर दिया गया है। अशोक कुमार को अध्यक्ष जबकि अरविन्द कुमार सिंह को उपाध्यक्ष बनाया गया है। वहीं विधानसभा सदस्य श्रेयसी सिंह, रामविलास कामत, विजय कुमार विधानपार्षद अनिल कुमार और रवींद्र प्रसाद सिंह को सदस्य बनाया गया है। इसके अलावा सुनील कुमार और शौकत अली को भी आयोग का सदस्य बनाया गया है।