दिल में छेद वाले 18 साल से ज्यादा उम्र के मरीजों का भी फ्री इलाज, बिहार सरकार उठाएगी पूरा खर्चा
राज्य में पिछले चार वर्षों में इस योजना के तहत अब तक 1828 दिल में छेद वाले बच्चों (0-18 वर्ष) का सफल ऑपरेशन किया जा चुका है, जिनमें श्री सत्य साई हृदय रोग संस्थान ने 1391 बच्चों का सफल ऑपरेशन किया है
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बिहार के 18 साल से अधिक उम्र के दिल में छेद से पीड़ित वयस्कों को भी जल्द ही नि:शुल्क इलाज एवं शल्य चिकित्सा की सुविधा मिलेगी। ऐसे वयस्कों का इलाज अहमदाबाद के प्रशांति मेडिकल सर्विसेज एंड रिसर्च फाउंडेशन (श्री सत्य साई हृदय रोग संस्था) में शुरू होगा। स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने कहा कि राज्यहित में इस प्रस्ताव को शीघ्र ही पारित किया जाएगा। इस बात की नीतिगत सहमति दे दी गयी है, अब केवल कागजी प्रस्ताव पारित किया जाना है। हमारी कोशिश है कि राज्य में अधिक से अधिक उन्नत स्वास्थ्य सुविधाएं प्रदान की जाएं।
शपांडेय ने गुरुवार को सचिवालय स्थित स्वास्थ्य विभाग के सभागार में स्वास्थ्य विभाग और अहमदाबाद के प्रशांति मेडिकल सर्विसेज एंड रिसर्च फाउंडेशन (श्री सत्य साई हृदय रोग संस्था) के बीच बाल हृदय योजना के तहत द्विपक्षीय समझौता ज्ञापन (एमओयू) के नवीनीकरण पर यह जानकारी दी। स्वास्थ्य मंत्री की अध्यक्षता में आयोजित कार्यक्रम में समझौता पत्र पर स्वास्थ्य विभाग के निदेशक प्रमुख डॉ. प्रमोद कुमार सिंह एवं अहमदाबाद के प्रशांति मेडिकल सर्विसेज एंड रिसर्च फाउंडेशन (श्री सत्य साई हृदय रोग संस्था) के मैनेजिंग ट्रस्टी मनोज भिमानी ने हस्ताक्षर किया।
इस मौके पर मंगल पांडेय ने बताया कि राज्य में पिछले चार वर्षों में इस योजना के तहत अब तक 1828 दिल में छेद वाले बच्चों (0-18 वर्ष) का सफल ऑपरेशन किया जा चुका है, जिनमें श्री सत्य साई हृदय रोग संस्थान ने 1391 बच्चों का सफल ऑपरेशन किया है। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के दिशा-निर्देश में बिहार सरकार ने सात निश्चय-2 के तहत राज्य में उन्नत चिकित्सा सुविधाओं के विस्तार के लिए वर्ष 2021 में बाल हृदय योजना की शुरुआत की थी। इसके तहत जन्मजात हृदय संबंधी जटिलताओं से पीड़ित 0-18 वर्ष के बच्चों को नि:शुल्क उपचार एवं शल्य चिकित्सा की सुविधा प्रदान की जा रही है। इसके लिए पटना स्थित इंदिरा गांधी हृदय रोग संस्थान एवं इंदिरा गांधी आयुर्विज्ञान संस्थान को विशेष स्वास्थ्य केंद्र के रूप में विकसित किया गया है।
राज्य से बाहर गंभीर हृदय रोग से पीड़ित बच्चों के नि:शुल्क इलाज के लिए गुजरात स्थित प्रशांति मेडिकल सर्विसेज एंड रिसर्च फाउंडेशन के साथ 13 फरवरी 2021 को एक समझौता किया गया था। इस एमओयू को पहले फरवरी 2023 में नवीनीकृत किया गया था, जिसकी अवधि 12 फरवरी 2025 को समाप्त हो गई। इसे पुन: आगामी दो वर्षों के लिए 13 फरवरी 2025 को नवीनीकरण किया गया है। उन्होंने बताया कि इस योजना के तहत अब तक नौ स्वास्थ्य जांच शिविर आयोजित कर अनेक बच्चों को स्क्रीनिंग कर उन्हें नि:शुल्क इलाज की सुविधा दी गयी है।
मौके पर सर्वोच्च न्यायालय के सेवानिवृत्त न्यायाधीश न्यायमूर्ति एमआर साह एवं प्रशांति मेडिकल सर्विसेज के ट्रस्टी मनोज भिमानी, विकास आयुक्त प्रत्यय अमृत, राज्य स्वास्थ्य समिति के कार्यपालक निदेशक सुहर्ष भगत, स्वास्थ्य सचिव मनोज सिंह, आयुष्मान योजना के सीईओ शशांक शेखर, बाल हृदय योजना के राज्य कार्यक्रम पदाधिकारी डॉ. राजीव, स्वास्थ्य मंत्री के आप्त सचिव अमिताभ सिंह सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे।