Healthcare Crisis in Rampur 25 Lakh Population Relies on Just 88 Doctors 88 चिकित्सकों के सहारे 25 लाख आबादी का उपचार, Rampur Hindi News - Hindustan
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88 चिकित्सकों के सहारे 25 लाख आबादी का उपचार

Rampur News - रामपुर में 25 लाख लोगों की स्वास्थ्य सेवाएं मात्र 88 डॉक्टरों पर निर्भर हैं। सामुदायिक और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों पर डॉक्टरों की भारी कमी है, जिससे मरीजों को जिला अस्पताल और दिल्ली जाना पड़ रहा...

Newswrap हिन्दुस्तान, रामपुरThu, 19 June 2025 01:52 AM
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88 चिकित्सकों के सहारे 25 लाख आबादी का उपचार

रामपुर। स्वास्थ्य भले ही जीवन की सबसे जरूरी चीजों में से एक है, लेकिन जिले की 25 लाख आबादी का उपचार 88 चिकित्सकों के सहारे है। सामुदायिक व प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर चिकित्सकों के अभाव से उपचार की उम्मीद टूट रही है। 74 चिकित्सकों के पद रिक्त हैं। डाक्टर पर इतना भार है कि वह स्वास्थ्य विभाग से इस्तीफा दे रहे हैं। रिक्त पड़े पदों को भरने के लिए अधिकारी मात्र खानापूर्ति कर रहे हैं। यही कारण है कि रोगियों को मुश्किल का सामना करना पड़ रहा है। सामान्य बीमारी का उपचार कराने के लिए जिला मुख्यालय व दिल्ली जाना पड़ रहा है।

जिले में पांच सीएचसी और 38 पीएचसी हैं। इसके अलावा गांव-गांव स्तर पर 270 के करीब आयुष्मान आरोग्य मंदिर भी स्थापित किए गए हैं। मकसद साफ है कि स्वास्थ्य सेवाओं को गांव स्तर से ही मजबूत किया जाए और हर जरूरतमंद को समय पर कम खर्चे में उपचार मिल सके। विडंबना यह है कि विभिन्न रोगों के विशेषज्ञ डाक्टरों की कमी मरीजों की पीड़ा बढ़ा रही है। सीएचसी और पीएचसी पर डाक्टरों की कमी जग जाहिर है। यहां सामान्य रोगों तक डाक्टर नहीं हैं ऐसे में विशेषज्ञों की तैनाती पाना स्वास्थ्य विभाग के लिए ही टेढ़ी खीर है। जिला अस्पताल में ही स्त्री रोग विशेषज्ञ, हृदय रोग विशेषज्ञ, नाक, काल, गला रोग और त्वचा रोग विशेषज्ञों की कमी के चलते मुश्किल हो रही है। आंकड़ों पर नजर डालें तो जिले में सीएचसी, पीएचसी और जिला अस्पताल पर 162 डाक्टरों के पद स्वीकृत हैं। इन पर वर्तमान में तैनाती केवल 88 डाक्टरों की हैं। डाक्टरों के 74 पद रिक्त चल रहे हैं। यह स्थिति बीते कुछ वर्षों से बनी हुई है। ऐसे में रोगियों को दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है। सीएमओ डा. एसपी सिंह का कहना है कि डाक्टरों की कमी शासन स्तर से पूरी हो सकती है। इसके लिए समय-समय पर पत्राचार होता है। जिला अस्पताल में उमड़ती है भीड़ इन दिनों जिला अस्पताल में हर रोज 12 सौ से अधिक मरीजों की ओपीडी हो रही है। यहां काफी संख्या में मरीज उपचार कराने को पहुंचते हैं। सीएचसी-पीएचसी पर डाक्टरों की कमी से गांव-देहात के मरीजों को उपचार नहीं मिलता तो वे जिला अस्पताल की दौड़ लगाते हैं। किसी भी सीएचसी पर नहीं है अल्ट्रासाउंड की सेवा जिले में पांच सीएचसी हैं और पांचों सीएचसी तहसील स्तर पर स्थित हैं। जहां 100 से अधिक गांवों की आबादी सीएचसी से कनेक्ट रहती हैं। बावजूद इसके किसी भी सीएचसी में अल्ट्रासाउंड की सेवा नहीं हैं। महिला हो या पुरुष, उनको अल्ट्रासाउंड के लिए जिला अस्पताल आना पड़ता है। इसके अलावा कई सारी खून की जांचें भी सीएचसी पर नहीं हो रही हैं। ऐसे मरीज जिला अस्पताल जांच कराने पहुंचते हैं। फैक्ट फाइल जिला अस्पताल स्वीकृत पद-30 तैनाती-15 महिला अस्पताल स्वीकृत पद-11 तैनाती-05 सीएचसी स्वीकृत पद-41 तैनाती-20 पीएचसी स्वीकृत पद-80 तैनाती-48

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