Hindi Newsउत्तर प्रदेश न्यूज़Helmets are mandatory for children above 4 years of age while riding a bike strict action will be taken on violation

बाइक पर बैठे 4 साल से अधिक उम्र के बच्चों को भी हेलमेट जरूरी, उल्लंघन पर सख्त कार्रवाई

  • लखनऊ में आयोजित सड़क सुरक्षा को लेकर बैठक में कहा गया कि दो पहिया वाहनों पर पीछे बैठे बच्चे की उम्र अगर चार साल से अधिक है तो उसे भी हेलमेट लगाना जरूरी है। नियम का उल्लंघन पर चालक के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।

Deep Pandey लाइव हिन्दुस्तानThu, 6 Feb 2025 08:27 AM
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बाइक पर बैठे 4 साल से अधिक उम्र के बच्चों को भी हेलमेट जरूरी, उल्लंघन पर सख्त कार्रवाई

लखनऊ में सड़क सुरक्षा को लेकर बैठक में कहा गया कि सड़क हादसों में बीते एक साल में 31 प्रतिशत मौतें दो पहिया वाहनों से हुई हैं। यह भी निर्देश दिया गया कि दो पहिया वाहनों पर पीछे बैठने वालों को भी हेलमेट लगाने के लिए जागरुक किया जाए। पीछे बैठे बच्चे की उम्र अगर चार साल से अधिक है तो उसे भी हेलमेट लगाना जरूरी है। ऐसा न होने पर वाहन चालक के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए।

साथ ही गाड़ी चलाते समय मोबाइल, ईयरफोन का इस्तेमाल, विपरीत दिशा में वाहन चलाना और शराब पीकर गाड़ी चलाने पर भी कड़ी कार्रवाई की जाए। इसमें सुधार लाया जाना बेहद जरूरी है। यमुना एक्सप्रेस-वे के सम्बन्ध में अफसरों ने कमेटी को बताया कि सड़क दुर्घटना रोकने के लिए हो रहे प्रयासों से मृतकों की संख्या में 40 प्रतिशत की कमी रिकार्ड की गई है।कमेटी की बैठक में कहा गया कि पुलिस मुख्यालय और जिला स्तर पर तैनात पुलिस अधिकारियों को भी विश्वकर्मा ऐप से जोड़ा जाए। इससे ब्लैक स्पॉट चिन्हित करने में लगने वाले समय को कम किया जा सकेगा।

ये भी पढ़ें:बिना हेलमेट सरकारी कर्मचारियों और स्कूली छात्रों पर कसेगी नकेल, यह हो रही तैयारी

लखनऊ में सड़क सुरक्षा को लेकर बैठक में कहा गया कि सड़क हादसों में बीते एक साल में 31 प्रतिशत मौतें दो पहिया वाहनों से हुई हैं। यह भी निर्देश दिया गया कि दो पहिया वाहनों पर पीछे बैठने वालों को भी हेलमेट लगाने के लिए जागरुक किया जाए। पीछे बैठे बच्चे की उम्र अगर चार साल से अधिक है तो उसे भी हेलमेट लगाना जरूरी है। ऐसा न होने पर वाहन चालक के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए।

साथ ही गाड़ी चलाते समय मोबाइल, ईयरफोन का इस्तेमाल, विपरीत दिशा में वाहन चलाना और शराब पीकर गाड़ी चलाने पर भी कड़ी कार्रवाई की जाए। इसमें सुधार लाया जाना बेहद जरूरी है। यमुना एक्सप्रेस-वे के सम्बन्ध में अफसरों ने कमेटी को बताया कि सड़क दुर्घटना रोकने के लिए हो रहे प्रयासों से मृतकों की संख्या में 40 प्रतिशत की कमी रिकार्ड की गई है।

कमेटी की बैठक में कहा गया कि पुलिस मुख्यालय और जिला स्तर पर तैनात पुलिस अधिकारियों को भी विश्वकर्मा ऐप से जोड़ा जाए। इससे ब्लैक स्पॉट चिन्हित करने में लगने वाले समय को कम किया जा सकेगा।

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कक्षा छह से 12 के पाठ्यक्रम में सड़क सुरक्षा विषय हो

परिवहन आयुक्त बीएन सिंह ने सुझाव दिया कि सड़क हादसों में 18 से 25 वर्ष के युवाओं की मौत ज्यादा हो रही है। ऐसे में कक्षा छह से 12 तक के पाठ्यक्रम में सड़क सुरक्षा व ट्रैफिक नियमों को अनिवार्य रूप से शामिल किया जाए। साथ ही प्रश्नपत्र में सड़क सुरक्षा से जुड़े सवाल जरूर पूछे जाए। साथ ही लाइसेंस के आवेदन की प्रक्रिया में सभी आवेदनों को हिन्दी में भरने का सुझाव भी दिया गया। इसी तरह अपर मुख्य सचिव परिवहन वेंकेटेश्वर लू ने सुझाव दिया कि परिवहन विभाग की ऑनलाइन योजनाओं के पोर्टल को जन सुविधा केन्द्रों के जरिए भी उपयोग में लाया जाए।

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