यूपी के गांव में तेज होगी ये मुहिम, इस विभाग की ली जाएगी मदद, सरकार ने सभी डीएम को जारी किए निर्देश
यूपी के गांवों में टीबी के संदिग्ध रोगियों को खोजने की मुहिम चलेगी। हर ग्राम पंचायत को टीबी मुक्त बनाया जाएगा। यूं तो यह मुहिम शहरों में भी चलेगी, मगर गांवों पर ज्यादा फोकस होगा।

यूपी के गांवों में टीबी के संदिग्ध रोगियों को खोजने की मुहिम चलेगी। हर ग्राम पंचायत को टीबी मुक्त बनाया जाएगा। यूं तो यह मुहिम शहरों में भी चलेगी, मगर गांवों पर ज्यादा फोकस होगा। इस अभियान को गति देने का जिम्मा सभी जिलाधिकारियों को सौंपा गया है। ग्रामीण क्षेत्र में पंचायती राज और शहरी इलाकों में नगर विकास विभाग की भी मदद ली जाएगी। केंद्र ने टीबी को लेकर 100 दिन के अभियान की सफलता के बाद इसका विस्तार कर दिया है। हर जिले में स्क्रीनिंग, पोषण सहायता और सख्त निगरानी के आदेश दिए गए हैं।
प्रदेश सरकार ने टीबी उन्मूलन को लेकर बड़ी पहल की है। राष्ट्रीय क्षय उन्मूलन कार्यक्रम (एनटीईपी) के तहत सफल रहे 100 दिवसीय सघन अभियान को अब सभी जिलों में विस्तारित किया जाएगा। इसे लेकर प्रदेश के स्वास्थ्य विभाग के प्रमुख सचिव पार्थ सारथी सेन शर्मा ने भी सभी डीएम और मुख्य चिकित्साधिकारियों को निर्देश जारी किए हैं। टीबी के खिलाफ अभियान को आगे बढ़ाने के लिए केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के पत्र का हवाला दिया गया है। वहीं जिलाधिकारियों से जो जिला स्वास्थ्य समिति के अध्यक्ष भी हैं, टीबी के खिलाफ जन अभियान बनाने की मुहिम का नेतृत्व करने की अपेक्षा की गई है।
पहले चरण में मिले 2.07 लाख टीबी रोगी
टीबी को लेकर चले पहले चरण के 100 दिवसीय अभियान में यूपी पहले पायदान पर रहा था। अभियान में 4.07 करोड़ उच्च जोखिम वाली आबादी की स्क्रीनिंग हुई थी। 44.30 लाख एक्सरे और 8.34 लाख नैट जांच कराई गईं थीं। जिनसे 2.07 लाख टीबी रोगी चिन्हित किए गए। एक लाख से अधिक मरीजों को पोषण पोटलियां वितरित की गई थीं। अब अभियान के विस्तार के दौरान हर जनपद में उच्च जोखिम वाले समुदायों में सक्रिय खोज, प्रारंभिक जांच और तुरंत इलाज की व्यवस्था सुनिश्चित की जाएगी। साथ ही पंचायतों को टीबी मुक्त बनाने के लिए विशेष अभियान चलाया जाएगा। जबकि पहले से टीबी मुक्त घोषित पंचायतों की यथास्थिति बनाए रखने पर भी फोकस किया जाएगा।