गोष्ठी में आम की फसल बचाने के दिए टिप्स
Amroha News - गजरौला। एपीडा एवं कृषि विज्ञान केंद्र के संयुक्त संयोजन में नेशनल इंस्टीट्यूट आफ प्लांट हेल्थ मैनेजमेंट हैदराबाद द्वारा एक दिवसीय आम उत्पादकों को जागर

एपीडा एवं कृषि विज्ञान केंद्र के संयुक्त संयोजन में नेशनल इंस्टीट्यूट आफ प्लांट हेल्थ मैनेजमेंट हैदराबाद द्वारा एक दिवसीय आम उत्पादकों को जागरूकता विषय पर कृषक गोष्ठी का आयोजन किया गया। विषय निर्यात योग्य आम को फल मक्खी से बचाव एवं रोकथाम रहा। शुभारंभ निदेशक प्रसार डा.पीके सिंह सरदार वल्लभभाई पटेल कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, मेरठ एवं नेशनल इंस्टीट्यूट प्लांट हेल्थ मैनेजमेंट हैदराबाद के प्रधान वैज्ञानिक डा.चंद्रशेखर गुप्ता ने किया। केंद्र के प्रभारी अधिकारी डा.एके मिश्र ने अतिथियों का स्वागत किया। डा.पीके सिंह ने कहा कि यहां से आम खाड़ी देशों में भी निर्यात किया जाता है, इसलिए गुणवत्ता युक्त उत्पादन किया जाना जरूरी है। डा.एके मिश्र को अच्छे कार्य के लिए सम्मानित किया। केंद्र प्रभारी ने बताया कि कम लागत में मिथाइल यूजीनाल का प्रयोग कर एक एकड़ में छह से 10 प्लास्टिक की बोतलों में मिथाइल यूजीनाल को काटन (रूई) में भिगोकर अगर पेड़ पर लटका दिया जाता है तो आम के बागों को 70 से 90 प्रतिशत तक आम फल मक्खी को नियंत्रित किया जा सकता है। वैज्ञानिक डा.हादी हुसैन खान ने आम में लगने वाले अन्य कीट हापर, मिली बग के नियंत्रण पर चर्चा की। कहा कि किसान रासायनिक दवाओं का कम उपयोग कर एकीकृत कीट प्रबंधन को अपनाएं। इससे रासायनिक दवाओं के दुष्प्रभाव से वातावरण एवं मानव जीवन सुरक्षित रहेगा। इस दौरान वैज्ञानिक डा.शीशपाल सिंह, डा.अमित तोमर, डा.प्राची पटेल आदि मौजूद रहे।
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