प्रशांत किशोर का मकसद सिर्फ BPSC री एग्जाम या कुछ और, तो क्या है अनशन का पूरा एजेंडा
- प्रशांत किशोर का कहना है कि उनका आमरण अनशन बीपीएससी के मुद्दे के अलावे व्यापक छात्र हित को लेकर है। सरकार के समक्ष 5 मांगे रखी है।
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प्रशांत किशोर ने बिहार सरकार और बीपीएससी को री एग्जाम और पांच सूत्री मांगों को लेकर 48 घंटों का अल्टीमेटम दिया था। सोमवार को मुख्य सचिव के छात्रों के प्रतिनिधि मंडल की मुलाकात के बाद प्रशांत किशोर ने कहा था कि सरकार ने मांगें नहीं मानी तो 2 जनवरी से आन्दोलन तेज किया जाएगा। गुरुवार की शाम को प्रशांत किशोर जन सुराज के कार्यकर्ताओं और बीपीएससी अभ्यर्थियों के साथ पटना गांधी मैदान में खुले आसमान के तले आमरण अनशन पर बैठ गए हैं। लेकिन प्रशांत किशोर ने बीपीएससी री एग्जाम के अलावे अन्य कई मांगों को लेकर नीतीश कुमार की सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है।
विगत 13 दिसम्बर को पटना समेत राज्य के विभिन्न जिलों में 912 केंद्रों पर बीपीएससी सिविल सेवा की प्रीलिम्स परीक्षा में हुई। छात्रों के द्वारा परीक्षा में गड़बड़ी का आरोप लगाते हुए इसे रद्द करने और री एग्जाम की मांग की जा रही है। मांगों को लेकर गर्दनीबाग में छात्रों का धरना जारी है। इस बीच BPSC अभ्यर्थियों की मांग के समर्थन में जन सुराज के नेता प्रशांत किशोर गांधी मैदान में गांधी मूर्ति के समीप अनिश्चितकालीन आमरण अनशन पर बैठ गए जो अबतक जारी है।
प्रशांत किशोर का कहना है कि उनका आमरण अनशन बीपीएससी के मुद्दे के अलावे व्यापक छात्र हित को लेकर है। जन सुराज की ओर से प्रेस विज्ञप्ति जारी की गयी। पार्टी की ओर से छात्रों के हित में सरकार के समक्ष 5 मांगे रखी है -
1. 70वीं बीपीएससी परीक्षा ने हुई अनियमितता और भ्रष्टाचार की उच्चस्तरीय जांच और पुनर्परीक्षा कराई जानी चाहिए।
2. 2015 में 7 निश्चय के तहत किए वादे के अनुसार 18 से 35 साल के बेरोजगार युवा को बेरोजगारी भत्ता दिया जाए।
3 पिछले 10 वर्षों में प्रतियोगी परीक्षाओं में हुई अनियमितता और पेपर लीक की जांच एवं दोषियों पर की गई कार्रवाई पर श्वेत पत्र जारी किया जाय।
4. लोकतंत्रकी जननी बिहार को लाठीतंत्र बनाने वाले दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई की जाए।
5. बिहार की सरकारी नौकरियों में बिहार के युवाओं की कम से कम दो तिहाई हिस्सेदारी सुनिश्चित करने के लिए डोमिसाइल नीति लागू की जाए।
रात भर पीके छात्रों और समर्थकों के साथ भीषण ठंड में अनशन पर बैठे रहे। इस बीच पटना प्रसाशन ने उनके अनशन को गैर कानूनी बताते हुए गांधी मैदान खाली करने की बात कही है। इसे बिना अनुमति के आयोजित अवैध अनशन बताया जा रहा है। इधर प्रशांत किशोर ने पटना पुलिस को गिरफ्तार करने की चुनौती दी है। उन्होंने कहा है कि पुलिस गिरफ्तार करे और कोर्ट ले चले। हम इसके लिए तैयार हैं। हमने जो ऐलान किया है उसके अनुसार काम करते रहेंगे।
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प्रशांत किशोर ने एक बार फिर आरोप लगाया है कि बीपीएससी के अधिकांश सीटों की डील हो चुकी है। बीपीएससी में दलाल, शिक्षा माफिया और भ्रष्ट अधिकारी और नेताओं ने मिलकर सौदेबाजी कर लिया है। इसी वजह से सरकार और आयोग पीटी परीक्षा रद्द नहीं करने की जिद पर अड़ी है।