इलेक्ट्रिक वाहन किसी शहर की आर्थिक वृद्धि के आधार : प्रो. लीजा
इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (आईआईटी), धनबाद की प्रो. लीजा मल्लिक ने कहा कि इलेक्ट्रिक हल्के वाहन शहरी क्षेत्रों की आर्थिक वृद्धि में महत्वपूर्ण हैं। उन्होंने एक व्याख्यान में बताया कि ईएलसीवी...

इलेक्ट्रिक हल्के वाहन किसी भी शहर की आर्थिक वृद्धि में अनिवार्य भूमिका निभाते हैं। वे शहरी क्षेत्रों में व्यावसायिक वस्तुओं के परिवहन के लिए जिम्मेवार होते है। ये बातें इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (इंडियन स्कूल ऑफ माइंस), धनबाद की प्रो. लीजा मल्लिक ने कही। वे सोमवार को आद्री परिसर में ‘इलेक्ट्रिफाइंग लॉजिस्टिक्स : असेसिंग द वायबिलिटी ऑफ इएलसीवी इन झारखंड ट्रांसपोर्ट सेक्टर विषय पर जूम के माध्यम से आयोजित व्याख्यान को संबोधित कर रही थीं। इसका आयोजन आद्री के सेंटर फॉर स्टडीज ऑन इन्वारयमेंट एंड क्लाइमेट (सीएसईसी) के तत्वावधान में किया गया। जानकारी के अनुसार, आईआईटी (आईएसएम), धनबाद ने आद्री के साथ मिलकर हाल ही में एक अध्ययन किया है जिससे यह निर्धारित किया जा सके कि क्या इलेक्ट्रिक हल्के व्यावसायिक वाहन (ईएलसीवीएस) झारखंड के शहरी माल परिवहन क्षेत्र में कुछ स्थिरता ला सकते हैं। प्रो. लीजा ने कहा कि जीवाश्म ईंधन से चलने वाले हल्के व्यावसायिक वाहनों को अपनाने की दिशा में तेजी आ रही है। भारत में 2030 तक ईएससीवी (इलेक्ट्रिक स्मॉल कॉमर्शियल व्हीकल) की प्रवेश दर 27 प्रतिशत तक पहुंचने वाली है। सत्र की शुरुआत में आद्री की सदस्य सचिव डॉ. अस्मिता गुप्ता ने सभी का स्वागत किया। आद्री की डॉ. मौसमी गुप्ता भी कार्यक्रम में शामिल हुईं। संचालन डॉ. सुनील कुमार गुप्ता ने किया।
लेटेस्ट Hindi News , बॉलीवुड न्यूज, बिजनेस न्यूज, टेक , ऑटो, करियर , और राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।