रिवाइज : मॉडल भवन में शिफ्ट हुआ सदर अस्पताल, इमरजेंसी में इलाज शुरू
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मॉडल भवन में शिफ्ट हुआ सदर अस्पताल, इमरजेंसी में इलाज शुरू 212 बेड पर सभी तरह की चिकित्सीय सुविधाएं उपलब्ध एक ही छत के नीचे रोगियों को मिलेंगी सारी तरह की सुविधाएं जांच से लेकर दवा तक की हुई व्यवस्था फिलहाल ओपीडी व प्रसव कक्ष हुआ शुरू, अन्य वार्डों को धीरे-धीरे किया जाएगा शिफ्ट मंत्री श्रवण ने कहा-बिहार का हो रहा तेजी से विकास, निरंतर बढ़ रहीं चिकित्सीय सेवाएं और सुविधाएं फोटो : मॉडल हॉस्पिटल : बिहारशरीफ मॉडल हॉस्पिटल के शिफ्ट कार्यक्रम में शामिल ग्रामीण विकास मंत्री श्रवण कुमार, सीएस डॉ. जितेंद्र कुमार सिंह, डीपीएम श्याम कुमार निर्मल व अन्य। बिहारशरीफ, निज संवाददाता। बहुत लंबे इंतजार के बाद सोमवार को मॉडल भवन में सदर अस्पताल शिफ्ट हुआ। यहां 212 बेड पर सभी तरह की चिकित्सीय सुविधाएं उपलब्ध हैं। अब सभी रोगियों को एक ही छत के नीचे सारी तरह की सुविधाएं मिलेंगी। जांच से लेकर दवा तक की व्यवस्था रहेगी। इमरजेंसी वार्ड में सोमवार को इलाज शुरू हो गया। साथ ही रोगियों को एक्सरे व अल्ट्रासाउंड जांच सुविधा मिलने लगी। जबकि, ओपीडी सेवा मंगलवार से शुरू होगी। फिलहाल मॉडल भवन में सामान्य ओपीडी, महिला ओपीडी, इमरजेंसी व प्रसव कक्ष को शुरू किया गया है। यहां अन्य विभागों को भी धीरे-धीरे शिफ्ट किया जाएगा। ग्रामीण विकास मंत्री ने इस कार्यक्रम में शिरकत की। उन्होंने कहा कि बिहार का तेजी से विकास हो रहा है। सदर समेत सभी अस्पतालों में चिकित्सीय सेवाएं और सुविधाएं निरंतर बढ़ रही हैं। मौके पर सीएस डॉ. जितेंद्र कुमार सिंह, जिला स्वास्थ्य समिति के डीपीएम श्याम कुमार निर्मल, सुजीत कुमार, दिनेश कुमार, रामाश्रय सिंह, अनिल कुमार व अन्य मौजूद थे। अल्ट्रासाउंड और एक्सरे भी मॉडल हॉस्पिटल में शुरू : सदर अस्पताल के मुख्य भवन के निचले तल्ले पर चल रहे अल्ट्रासाउंड और एक्सरे को भी मॉडल हॉस्पिटल में शिफ्ट कर दिया गया है। वहां ये दोनों सेवाएं शुरू हो चुकी है। इसके साथ ही, निबंधन की भी यहां व्यवस्था की गयी है। इलाज के बाद इसी भवन में रोगी अपनी दवाएं भी ले सकेंगे। ब्लड बैंक व सीटी स्कैन सेवा को भी इसी मॉडल हॉस्पिटल में शिफ्ट किया जाना है। इसके लिए तकनीकी प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। दो माह के अंदर वहां इसे शिफ्ट कर दिया जाएगा। पांच तल्ला भवन में मिलेंगी सभी सुविधाएं : मॉडल हॉस्पिटल की पूरी व्यवस्था पांच तल्ला भवन में बहाल की जा रही है। इसके पहले रोगियों को रक्त के लिए अलग विभाग में जाना पड़ता था। जबकि, इमरजेंसी में इलाज की अलग व्यवस्था थी। इतना हीं नहीं, इमरजेंसी में आए रोगियों को एक्सरे या अल्ट्रासाउंड के लिए मुख्य भवन में जाना पड़ता था। अब इसके वहां शिफ्ट होने से रोगियों को भाग-दौड़ नहीं करनी पड़ेगी। सोमवार को पहले दिन मॉडल हॉस्पिटल के इमरजेंसी वार्ड में शाम पांच बजे तक 14 रोगियों का इलाज किया गया। वहीं इलाज के बाद 12 रोगियों का एक्स-रे की गयी। हालांकि, सीटी स्कैन को वहां शिफ्ट करने के पहले कई तरह की तकनीकी पहलुओं की जांच की जाएगी। इसके बाद ही वहां इसे शिफ्ट किया जा सकेगा। इस कारण ब्लड बैंक और सीटी स्कैन विभाग को वहां जाने में अभी सात से आठ हफ्ते का समय और लगेगा। इसी तरह से एसएनसीयू वार्ड को भी वहां शिफ्ट करने के पहले तकनीकी जांच की जाएगी। इसके बाद ही उसे वहां शिफ्ट किया जाएगा। एक ही छत के नीचे सभी तरह की सेवाएं मिलने से रोगियों को भाग दौड़ नहीं करने पड़ेगी। रोजाना 550 रोगियों को होगा फायदा : सामान्य ओपीडी, इमरजेंसी, महिला ओपीडी, नाक कान विभाग, बच्चा वार्ड समेत अन्य वार्डों में रोजाना औसतन 550 रोगियों का इलाज किया जाता है। इसके लिए पुराने वाले सदर अस्पताल में अलग-अलग भवनों में बने वार्डों में रोगियों को दौड़ना पड़ता था। जांच लिखने पर एकतल्ला पर बने जांच केंद्र में जाना पड़ता था। जल्द ही इस सबसे रोगियों को छुटकारा मिल जाएगा। मॉडल हॉस्पिटल के शुरू होने से जिलेवासियों में खुशी की लहर है। नये भवन में इलाज कराने वाले मरीजों के चेहरों पर गजब का सुकूल था। उनलोगों का कहना था कि उन्हें बेहतर भवन व सुविधाएं मिलने लगी हैं। यही हाल आगे भी बरकरार रहे तो इलाज के लिए निजी क्लीनिकों का रुख नहीं करना होगा। 5 मंजिला, 212 बेड : हर मंजिल पर मिलेंगी नई सुविधाएं इस स्वास्थ्य महल की हर मंजिल पर मरीजों के लिए अलग-अलग चमत्कारिक व्यवस्थाएं रहेंगी। पहली मंजिल पर 10 स्पेशल केयर बेड दूसरी मंजिल पर 51 सुपर कम्फर्ट बेड तीसरी मंजिल पर 45 हाई-टेक हीलिंग बेड चौथी मंजिल पर 78 लक्जरी रिकवरी बेड पांचवीं मंजिल पर 18 प्रीमियम केयर बेड एक क्लिक में हाजिर होगी नर्स : इस अस्पताल में मरीज को अपना बेड छोड़ने की जरूरत नहीं पड़ेगी। बस एक जादुई बटन को दबाइए और तुरंत नर्स हाजिर! यह है इस अत्याधुनिक नर्सिंग कॉल सिस्टम का कमाल। यही नहीं, कागजी कार्रवाई के झंझट से भी छुटकारा मिलेगा। नवीनतम 'स्कैन और शेयर' तकनीक से लैस डिजिटल रजिस्ट्रेशन काउंटर मरीजों को पेपरलेस इलाज का अनुभव देंगे। यहां मरीज नहीं, मेहमान हैं सब : स्वास्थ्य समिति के श्याम कुमार निर्मल ने मुस्कुराते हुए कहा मुझे तो यकीन ही नहीं हो रहा। यह किसी फाइव स्टार होटल से कम नहीं है। सुविधाओं का ऐसा इंतजाम, स्वच्छता का ऐसा मापदंड और ऐसा आधुनिक उपकरण - बिहार शरीफ के लोगों के लिए यह सपने जैसा है। इससे चिकित्सा सेवाओं में एक नया अध्याय जुट जाएगा।
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